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डॉ. रामलाल मारकंडा ने की नवनिर्वाचित पंचायत प्रधानों व पंचायत सचिवों की बैठक की अध्यक्षता

हिमवंती मीडिया/केलांग
पंचायतों के विकास के लिये प्रधानों व सचिवों का समन्वय के साथ कार्य करना आवश्यक है, ताकि कोई भी कार्यों के निष्पादन में अनावश्यक बिलम्ब न हो। यह बात लाहौल के उदयपुर खण्ड के नवनिर्वाचित  पंचायत प्रधानों व पंचायत सचिवों की बैठक की अध्यक्षता करते हुए तकनीकी शिक्षा, सूचना प्रौद्योगिकी व जनजातीय विकास मन्त्री डॉ रामलाल मारकंडा ने कही। बैठक में 14 पंचायतों के प्रधानों तथा पंचायत सचिवों की भागीदारी रही।
डॉ मारकंडा ने कहा कि पंचायतों में किये जाने वाले विकास कार्यों में तेज़ी लाने का प्रयास  किया जाएगा तथा प्रत्येक पंचायत सचिव को विभिन्न पंचायत में कार्य करने के दिन निश्चित किये जायेंगे। पंचायत सचिवों और तकनीकी सहायकों की भी एक बैठक की जाएगी ताकि बेहतर समन्वय के साथ कार्य हो सके। डॉ मारकंडा ने बताया कि धन के अभाव में कोई विकास कार्य नहीं रुकने दिया जाएगा। किसी भी विकासकार्य के लिए स्वीकृत धन का व्योरा
पंचायत सूचना पट्ट पर हो, ताकि पारदर्शिता रहे।
मनरेगा में बजट की कोई लिमिट नहीं है, यह एक मांग आधारित स्कीम है। मनरेगा के अंतर्गत लाहौल में  लगभग 100 किस्म के कार्य किये जा सकते हैं, जिसके लिए  अभी से नियोजन किया जाए। सभी पंचायत प्रधानों ने पंचायतों में हो रहे विकास कार्यों की भी चर्चा की। इस अवसर पर  एसडीएम उदयपुर निशांत तोमर, टीएसी मेंबर शमशेर झेग, खण्ड विकास अधिकारी डॉ विवेक गुलेरिया भी उपस्थित रहे।

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